Skip to main content

"ब्रह्म-मुहूर्त उपदेश"

कलयुग में प्राय सभी मनुष्यों का अंतिम लक्ष्य सुख की प्राप्ति का ही होता है कि उसे बड़े से बड़ा सुख मिले और सुख सदा बना रहे व सुखों को भोगने की स्थूल शरीर की इंद्रियां सदा जवान बनी रहे, किंतु भौतिक प्रकृति में सभी स्थूल शरीरों की इन्द्रियों क्रमश: शिथिल होती जाती हैं और अन्ततः स्थूल शरीरों की मृत्यु हो जाती है.....सुधीर भाटिया फकीर

Comments

Popular posts from this blog

"भोजन/TI+FF+IN《《《《《 मनु" + "ष्य ????? भजन/शास्त्र" -[कक्षा-2591]-सुधीर भाटिया फकीर-20-09-2024

 

वि+वाह =कारण-शरीर/सँस्कार+सूक्ष्म-शरीर/मन, स्थूल-शरीर/भोग?●तलाक●[कक्षा-2595]सुधीर भाटिया फकीर22-9-24

 

आपके जीवन का गणित:- शुद्ध कमाई ?? ऋण/तमो, शून्य/रजो, बचत/सतो-[कक्षा-2657]-सुधीर भाटिया फकीर-23-10-24